Bihar Teacher: बिहार में सरकारी शिक्षक हो सकते हैं इधर से उधर

बिहार सरकार ने राज्य के सभी सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की तैनाती को लेकर नए निर्देश जारी किए हैं। अब हर प्राथमिक विद्यालय में कम से कम तीन और मध्य विद्यालय में आठ शिक्षक होंगे। अर्धवार्षिक परीक्षा से पहले पाठ्यक्रम पूरा करने और स्कूलों में मूलभूत सुविधाएं सुनिश्चित करने के भी आदेश दिए गए हैं। यह निर्णय छात्रों को बेहतर शिक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से लिया गया है।
पटना। राज्य सरकार सभी सरकारी स्कूलों में मानक के अनुसार शिक्षकों की तैनाती करने जा रही है, ताकि विद्यार्थियों को पढ़ाई में किसी प्रकार की बाधा न हो। इसके लिए शिक्षा विभाग की ओर से शुक्रवार को सभी जिलों को आवश्यक निर्देश जारी कर दिए गए।
इसके तहत हर प्राथमिक विद्यालय में कम से कम तीन और हर मध्य विद्यालय में कम से कम आठ शिक्षक होंगे। हर माध्यमिक और उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में किसी विशेष विषय का कम से कम एक शिक्षक उपलब्ध होगा, किसी भी परिस्थिति में इससे कम शिक्षक नहीं होंगे।
शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस. सिद्धार्थ ने सभी क्षेत्रीय शिक्षा उपनिदेशकों और जिला शिक्षा पदाधिकारियों को मानक के अनुसार स्कूलों में शिक्षकों की तैनाती करने का निर्देश दिया।
निर्देश के अनुसार, ई-शिक्षाकोष पोर्टल के माध्यम से मानक के अनुसार स्कूलों में शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति करना जिला शिक्षा पदाधिकारी की जिम्मेदारी होगी। सभी स्कूलों में शिक्षकों की संख्या की जानकारी कमांड एंड कंट्रोल सेंटर से भी प्राप्त की जा सकेगी।
स्कूलों में अर्धवार्षिक परीक्षा से पहले अर्धवार्षिक परीक्षा का पाठ्यक्रम पूरा कर लिया जाएगा। सभी क्षेत्रीय शिक्षा उपनिदेशक और जिला शिक्षा पदाधिकारी इसकी समीक्षा करेंगे। वे यह सुनिश्चित करेंगे कि सभी कक्षाओं में अर्धवार्षिक परीक्षा का पाठ्यक्रम पूरा हो।
इसके लिए राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) से अर्धवार्षिक पाठ्यक्रम का विवरण प्राप्त किया जाएगा। अर्धवार्षिक परीक्षा 11 सितंबर से 20 सितंबर तक है।
अपर मुख्य सचिव ने अभियान चलाकर 15 दिनों के भीतर प्रत्येक विद्यालय में न्यूनतम मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराने का निर्देश दिया है। यह अभियान सभी जिला कार्यक्रम पदाधिकारी, कार्यक्रम पदाधिकारी और प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी की देखरेख में चलेगा।
इसके तहत प्रत्येक विद्यालय को उपलब्ध कराई गई 50 हजार रुपये की राशि से विद्युतीकरण किया जाएगा। कक्षाओं में पर्याप्त संख्या में बल्ब, ट्यूबलाइट और पंखे लगाए जाएंगे। वाटर पोस्ट के सभी नलों की मरम्मत की जाएगी। शौचालयों को उपयोग योग्य बनाया जाएगा और उनमें बहते पानी की उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी। बेंच और डेस्क के रखरखाव की उचित व्यवस्था होगी।
आईसीटी और स्मार्ट क्लास का उपयोग सुनिश्चित किया जाएगा। ऐसी व्यवस्था की जाएगी कि बच्चों की कक्षा कमरे में ही संचालित हो। इसके लिए जिला शिक्षा अधिकारी यह सुनिश्चित करेंगे कि प्रत्येक विद्यालय में आकस्मिकता मद में 50 हजार रुपये की राशि उपलब्ध हो।
विद्यालयों में उपलब्ध कक्षों, उपकरणों, पेयजल बिंदुओं से संबंधित कार्य पूर्ण होने के बाद, 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस समारोह के अवसर पर विद्यालयों की तस्वीरें ली जाएंगी और उन्हें ई-शिक्षाकोष पोर्टल पर अपलोड किया जाएगा।